पटना। गुजरात के नए मुख्यमंत्री पद का ऐलान हो गया। भाजपा ने मीटिंग में ऐसा नाम पटका कि सब देखते रह गए। गुजरात के नए मुख्यमंत्री की कमान भूपेंद्र भाई पटेल को दी गई है। भूपेंद्र रजनीकांत पटेल नाम सबके लिए चौंकाने वाला था। वजह साफ है वे हमेशा लो प्रोफाइल में रहते हैं, लेकिन पाटीदार समाज में अच्छी पैठ ने उन्हें इस रेस में जीत दिला दी। सूत्र बताते हैं कि भले ही वे पहली बार विधायक बने हों, पर मोदी-शाह की गुड बुक में माने जाते हैं। आइए जानते हैं आखिर क्यों और कैसे दिग्गजों को पछाड़कर भूपेंद्र पटेल को गुजरात का नया मुखिया बनाया गया।
दरअसल, भूपेंद्र पटेल कडवा पाटीदार समाज के नेता हैं। वे राज्य की पूर्व मुख्यमंत्री और वर्तमान में उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन के करीबी माने जाते हैं। भूपेंद्र पटेल को उनके निर्वाचन क्षेत्र में कार्यकर्ता दादा उपनाम से ही पुकारते हैं। भूपेंद्र पटेल जिस पाटीदार समुदाय से आते हैं, जिसकी राज्य में अच्छी-खासी जनसंख्या है। भाजपा ने यह सब राज्य में आने वाले दिनों में होने वाले चुनाव को लेकर किया है। सिविल इंजीनियरिंग में डिप्लोमा कर चुके 59 वर्षीय भूपेंद्र पटेल अहमदाबाद के घाटलोडीया विधानसभा क्षेत्र से विधायक हैं। 2017 में उन्होंने लगभग 1.17 लाख वोट से कॉन्ग्रेस के अपने नजदीकी उम्मीदवार को हराया था। बता दें कि यह वही विधानसभा क्षेत्र है, जिसका प्रतिनिधित्व पूर्व मुख्यमंत्री आनंदीबेन पटेल किया करती थीं। आनंदीबेन पटेल फिलहाल उत्तर प्रदेश की राज्यपाल हैं।
गुजरात के सीएम बनने जा रहे भूपेंद्र पटेल 2017 में पहली बार ही विधायक बने थे। उससे पहले वो संगठन के लिए कार्य करते थे। भाजपा विधायक दल में उनके नाम पर सहमति बनी। उनका नाम चैंकाने वाला भी है, क्योंकि उनके नाम की मीडिया में चर्चा तक नहीं थी। भूपेंद्र पटेल गुजरात की विजय रुपाणी सरकार में मंत्री भी थे। वो 2015-17 में ‘अहमदाबाद अर्बन डेवलपमेंट अथॉरिटी के अध्यक्ष भी रहे हैं।
भूपेंद्र रजनीकांत पटेल के बारे में कुछ खास बातें
- पूर्व मुख्यमंत्री रुपाणी का कहना है कि भूपेंद्र पटेल एक योग्य नेता हैं और उम्मीद है कि उनके नेतृत्व में भाजपा गुजरात का अगला विधानसभा चुनाव जीतेगी।
- भूपेंद्र पटेल पूर्व मुख्यमंत्री आनंदीबेन पटेल के बेहद करीबी माने जाते हैं। आनंदीबेन पटेल ने जब पद से इस्तीफा दिया था, तो उनकी ही सीट से भूपेंद्र चुनाव लड़े थे।
- सूत्रों के अनुसार केंद्र के दिशा निर्देश पर विजय रूपाणी ने गुजरात के सीएम पद से इस्तीफा दिया है। गुजरात में आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर बीजेपी शक्तिशाली पटेल समुदाय को खुश करने के लिए दांव-पेच लगा रही है।
- भूपेंद्र पटेल अहमदाबाद नगर निगम की स्थायी समिति के अध्यक्ष और अहमदाबाद शहरी विकास प्राधिकरण के अध्यक्ष भी रहे हैं।
नगर पालिका अध्यक्ष से मुख्यमंत्री तक का सफर
- भूपेंद्र भाई 1999 से 2000 और 2004 से 2005 तक मेमनगर नगरपालिका के चेयरमैन रहे।
- 2010 से 2015 तक अहमदाबाद म्युनिसिपल कॉर्पोरेशन की स्टैंडिंग कमेटी के चेयरमैन रहे।
- 2015-17 के दौरान अहमदाबाद अर्बन डेवलपमेंट अथॉरिटी (ओडा) के चेयरमैन रहे।
- 2017 में पहली बार घाटलोडिया सीट से विधायक बने। उन्होंने 1 लाख से ज्यादा वोट से जीत दर्ज की थी।