पटना : बिहार में नीतीश सरकार अब गिरने जा रही है। यह सरकार बस दो-तीन महीने ही और चलेगी। मौजूद सरकार हर मोर्चे पर विफल रही है। यह कहना है नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव का। अपने विधानसभा क्षेत्र राघोपुर में बाढ़ की स्थिति का जायजा लेने पहुंचे तेजस्वी ने नीतीश सरकार पर निशाना साधा। तेजस्वी ने कहा कि नीतीश के मुख्यमंत्री रहते कई घोटाले हुए हैं। किसी भी घोटाले में कार्रवाई नहीं की गई। सरकार अपनी नीतियों से भटक गई है। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि छपरा में बिना वैक्सीन के ही युवक को इंजेक्शन लगा दिया गया। यह बहुत बड़ा फर्जीवाड़ा है। बिहार सरकार के पास वैक्सीन ही नहीं है। इस कारण ऐसी घटनाएं हो रहीं हैं।
15 वर्षों में चौपट हो गई बिहार की शिक्षा व्यवस्था
नेता प्रतिपक्ष ने नीतीश सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि 15 वर्षों में शिक्षा व्यवस्था चौपट हो गई है। एसटीईटी मामले में अधिकारी और मंत्री दोषी हैं। अब तक मामले में कार्रवाई क्यों नहीं हुई? क्योंकि कहीं-न-कहीं मुख्यमंत्री भी दोषी है। तेजस्वी ने यह भी कहा कि सरकार नहीं चेती तो आगे और मुश्किलें होंगी।
राघोपुर के विकास न होने पर सरकार को बताया दोषी
चुनाव बाद अपने विधानसभा क्षेत्र में पहुंचे तेजस्वी यादव से जब राघोपुर के विकास की बात पूछी गई तो उन्होंने इसके लिए सरकार को दोषी बता दिया। तेजस्वी ने कहा कि यह कटाव की समस्या है। हम डिप्टी सीएम थे तो 900 करोड़ खर्च किए थे। अब सरकार बदल चुकी है। उन्होंने कच्ची दरगार से बिदुपुर के बीच बन रहे फोरलेन पुल के निर्माण में दे देरी पर कहा कि अब तक काम पूरा हो जाना चाहिए था। नीतीश कुमार द्वेष की भावना से काम कर रहे हैं। देरी का कारण मीडिया को सरकार से पूछना चाहिए।
युवाओं ने तेजस्वी को दिखाया काला झंडा
राघोपुर दौरे के दौरान दर्जन भर युवाओं ने तेजस्वी को काले झंडे दिखाए। तेजस्वी कर्मोपुर गांव के कटाव का जायजा लेकर लंका टोला जा रहे थे, तभी मेदनी चौक पर युवाओं ने उन्हें काले झंडे दिखाए। इन्होंने कहा कि तेजस्वी कोरोना काल में कहां थे? अब दो महीने के बाद राजनीति करने के लिए यहां आए हैं। बता दें नेता प्रतिपक्ष कोरोना संक्रमण के पीक टाइम में बिहार से गायब थे। वे अप्रैल के मध्य में दिल्ली चले गए थे। करीब 65 दिनों के बाद वह बुधवार को पटना पहुंचे हैं। हालांकि बिहार से गायब रहने के सवाल पर उन्होंने कहा कि वह नेता प्रतिपक्ष होने के साथ-साथ लालू प्रसाद के बेटे भी हैं। पिता की तबीयत खराब होने के कारण उनका ध्यान रखना उनके लिए जरूरी था।